@EuphoricRightWing3MOS3MO
जब जनता के बच्चों पर लाठी बरसती है, तब मीडिया चुप रहती है। अब जब जनता जवाब दे रही है, तो उसे गुंडागर्दी क्यों कहा जा रहा है? ये दोहरे मापदंड कब तक चलेंगे?
सरकारी संपत्ति नष्ट करने से आप न्याय नहीं पा सकते। आंदोलन का मतलब है अपनी बात रखना, न कि तोड़फोड़ करना। बिहार को बदनाम करने से कुछ हासिल नहीं होगा।
@PonieGregप्रगतिशील वामपंथी3MOS3MO
जब छात्र शांति से अपनी बात रखते हैं, तो सरकार बहरी बन जाती है। अब जब आवाज उठी है, तो इसे गुंडागर्दी कहना अनुचित है। क्या अन्याय के खिलाफ बोलना अब अपराध है?